आज़ादी कह देने से या कोई इक दिन
आजादी का जशन मना लेने से
ना ये देश आज़ाद होगा
हम कितने आज़ाद है
इस आजादी के बाद
अब इसका हिसाब होगा.
आजादी को कोई एक दिन, एक शब्द में
न बताना अब पर्याप्त होगा
आज़ाद तो हम तब होगे
जब हर शख्स की आँखों का
पूरा हर एक ख्वाब होगा
दिलाई है आजादी हमको
जिन शहीदों ने
उनके हम ऋणी है
ये कहना न अब पर्याप्त होगा
जाति-पाति,भेदभाव,ऊच-नीच
के बन्धनों से जब हम आज़ाद होगे
तब सफल इनका बलिदान होगा..
करते है आज संकल्प
तन से तो हो गए हम आज़ाद
अब मन को भी करना
आज़ाद होगा...
अगर एक साथ मिलकर
हम खड़े हो जाए
पूरी दुनिया को हमारी शक्ति पर
विश्वास होगा..
दायरा अगर अपनी सोच का
आसमां से भी कर दे ऊँचा
इक दिन ही नही आज़ाद
आज़ाद हर इक दिन होगा... !!!
सुंदर अभिव्यक्ति भावों की ..
ReplyDeleteशुभकामनायें.
bahut sunder bhav............
ReplyDeleteसुन्दर और सार्थक रचना . जय हिंद. वन्देमातरम .
ReplyDeleteकाश!!!आपकी तरह सभी सोचें..
ReplyDeleteअतिसुन्दर, संदेशात्मक रचना..
jai hind jai bharat sushma ji aabhar
ReplyDeleteSushma mam sach kahun to bahut hi achi rachna hai, jab se bloging kar raha hun tab se ye dusri rachna hai jo mujhe bahut hi sarthak or purn lagi........
ReplyDeleteHam tan se to aajad h gaye hain par man se nahi.... Vande matram,,,
jai hind jai bharatSushma mam sach kahun to bahut hi achi rachna hai, jab se bloging kar raha hun tab se ye dusri rachna hai jo mujhe bahut hi sarthak or purn lagi........
Ham tan se to aajad h gaye hain par man se nahi.... Vande matram,,,
jai hind jai bharat
अगर एक साथ मिलकर
ReplyDeleteहम खड़े हो जाए
पूरी दुनिया को हमारी शक्ति पर
विश्वास होगा..
प्रेरणास्पद रचना ....जय हिंद
सारे जाहाँ से अच्छा हिन्दुस्तान हमारा...
ReplyDeleteसुन्दर और सार्थक रचना .... जय हिन्द जय भारत...
सुन्दर और सामायिक पोस्ट........
ReplyDeleteबहुत खुबसूरत अभिवयक्ति की है आपने.....
ReplyDeleteआजादी को कोई एक दिन, एक शब्द में
ReplyDeleteन बताना अब पर्याप्त होगा
आज़ाद तो हम तब होगे
जब हर शख्स की आँखों का
पूरा हर एक ख्वाब होगा
....बहुत सारगर्भित और प्रेरक रचना...बहुत सुन्दर
आज़ाद तो हम तब होगे
ReplyDeleteजब हर शख्स की आँखों का
पूरा हर एक ख्वाब होगा- अति सुन्दर भाव !
अभी सच्ची आज़ादी से हम दूर है . सुँदर रचना
ReplyDeleteजय हिंद. वन्देमातरम .
ReplyDeleteरक्षाबंधन एवं स्वाधीनता दिवस के पावन पर्वों की हार्दिक मंगल कामनाएं.
ReplyDeleteबहुत अच्छी प्रस्तुति है!
ReplyDeleteरक्षाबन्धन के पावन पर्व पर हार्दिक शुभकामनाएँ!
सभी को उस सच्छी आज़ादी की प्रतीक्षा है ... कभी तो आयगी ... बस संकल्प की जरूरत है ...
ReplyDeleteअगर एक साथ मिलकर
ReplyDeleteहम खड़े हो जाए
पूरी दुनिया को हमारी शक्ति पर
विश्वास होगा.
Bilkul sahi farmaaya hai aapne. Sundar rachna, Happy independence day.
kaash 1947 main mili azadi "dhangg" ki mili hoti
ReplyDelete:'( :'(
सुन्दर रचना.....
ReplyDeleteप्रेरित करती एक सुन्दर रचना। आभार।
ReplyDeleteसार्थक रचना .......
ReplyDeleteदायरा अगर अपनी सोच का
ReplyDeleteआसमां से भी कर दे उचाँ
इक दिन ही नही आज़ाद
आज़ाद हर इक दिन होगा.
preranatamak prastuti..........thanks.
आपके इस सुन्दर प्रविष्टि की चर्चा कल दिनांक 15-08-2011 को चर्चा मंच http://charchamanch.blogspot.com/ पर भी होगी। सूचनार्थ
ReplyDeletehaardik badhaaIyaaM
ReplyDeleteअगर एक साथ मिलकर
ReplyDeleteहम खड़े हो जाए
पूरी दुनिया को हमारी शक्ति पर
विश्वास होगा..
सच कहा.....सुंदर पंक्तियाँ
सुंदर कविता....स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनायें ..जय हिंद
ReplyDeleteसुन्दर प्रस्तुति.
ReplyDeleteस्वतन्त्रता दिवस की शुभकामनाएँ.
सुंदर और सार्थक प्रस्तुति... स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनायें...
ReplyDeleteसादर,
डोरोथी.
स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनायें .
ReplyDeleteसुन्दर और सार्थक रचना!
ReplyDeleteस्वतन्त्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनायें
सारगर्भित और प्रेरक रचना. बहुत सुन्दर.
ReplyDeleteस्वतंत्रता दिवस की शुभकामनायें.
सुषमा जी बहुत सुन्दर... सच में आजादी तो हमें नाम की ही मिली ..कल फिर एक आजादी की जंग शुरू होने जा रही आइये सब मिल इसमें शिरकत करें ..एक साथ जोर लगायें ..निम्न पंक्ति प्यारी
ReplyDeleteभ्रमर ५
आजादी को कोई एक दिन, एक शब्द में
न बताना अब पर्याप्त होगा
आज़ाद तो हम तब होगे
जब हर शख्स की आँखों का
पूरा हर एक ख्वाब होगा
स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं |
ReplyDeleteek din jarur sab sach hoga
ReplyDeletesunder kavita
rachana
bahut sunder prastuti.
ReplyDeleteaabhar.
करते है आज संकल्प
ReplyDeleteतन से तो हो गए हम आज़ाद
अब मन को भी करना
आज़ाद होगा...
सच्ची बात कही आपने सार्थक रचना के माध्यम से...
राष्ट्र पर्व पर सादर बधाइयां
स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं |
ReplyDeleteआप को बहुत बहुत धन्यवाद की आपने मेरे ब्लॉग पे आने के लिये अपना किमती समय निकला
ReplyDeleteऔर अपने विचारो से मुझे अवगत करवाया मैं आशा करता हु की आगे भी आपका योगदान मिलता रहेगा
बस आप से १ ही शिकायत है की मैं अपनी हर पोस्ट आप तक पहुचना चाहता हु पर अभी तक आप ने मेरे ब्लॉग का अनुसरण या मैं कहू की मेरे ब्लॉग के नियमित सदस्य नहीं है जो में आप से आशा करता हु की आप मेरी इस मन की समस्या का निवारण करेगे
आपका ब्लॉग साथी
दिनेश पारीक
http://kuchtumkahokuchmekahu.blogspot.com/
It's great stuff. I enjoyed to read this blog. Each and every day your blog having some wonderful informations.
ReplyDeleteखूबसूरत ज़ज्बे और जोश का गीत भाव का उदगार का शुभेच्छा का ज्वार लिए .
ReplyDeletehttp://veerubhai1947.blogspot.com/
मंगलवार, १६ अगस्त २०११
पन्द्रह मिनिट कसरत करने से भी सेहत की बंद खिड़की खुल जाती है .
. August 16, 2011
उठो नौजवानों सोने के दिन गए ......http://kabirakhadabazarmein.blogspot.com/
सोमवार, १५ अगस्त २०११
संविधान जिन्होनें पढ़ लिया है (दूसरी किश्त ).
http://veerubhai1947.blogspot.com/
मंगलवार, १६ अगस्त २०११
त्रि -मूर्ती से तीन सवाल .
bahut hi jabardast likhaa hai...bahut hi accha khyaal hai aur honsla v
ReplyDeleteदायरा अगर अपनी सोच का
ReplyDeleteआसमां से भी कर दे ऊँचा
इक दिन ही नही आज़ाद
आज़ाद हर इक दिन होगा.
पूरी रचना सही मायनो में आजादी को बयां करती है...
http://naiqalam.blogspot.com
बात एकदम दुरुस्त है....अगर दिल मं ये चीजें रहें तो जश्ने आज़ादी का दिन बेहतर हो जाए....
ReplyDeleteकाश की सब मिल के एक साथ खड़े हो सकते आज़ादी के दिन ... बहुत प्रभावी रचना है ... अच्छी सीख और सोच लिए ...
ReplyDeleteसुन्दर संवेदनशील अभिव्यक्ति...
ReplyDeleteइस दौर में सात्विक सौन्दर्य भारतीय ऊर्जस्विता के प्रतीक बने हुएँ हैं अन्नाजी ..अन्ना देख रहे खिड़की से,
ReplyDeleteदुबक रहे राजा व कलमाड़ी,
धक्का मार रहे सब नेता,
कीचड़ में फंसी सत्ता की गाड़ी . अन्ना के हैं आदमी चार ,जिनसे डरती है सरकार ..
दायरा अगर अपनी सोच का
आसमां से भी कर दे ऊँचा
इक दिन ही नही आज़ाद
आज़ाद हर इक दिन होगा... !!!सुषमा जी खूबसूरत आश्वस्त करती हुई रचना ,बधाई .शुक्रिया आपकी बहुमूल्य टिप्पणी के लिए .
सार्थक टिप्पणी के लिए ..http://veerubhai1947.blogspot.com/http://veerubhai1947.blogspot.com/
मंगलवार, १६ अगस्त २०११
पन्द्रह मिनिट कसरत करने से भी सेहत की बंद खिड़की खुल जाती है .
Thursday, August 18, 2011
Will you have a heart attack?
http://kabirakhadabazarmein.blogspot.com/
आज़ादी की सही व्याखा समाहित है आपकी रचना में !
ReplyDeleteबिल्कुल सच्ची बात कही आपने...जीवन में एक स्वतंत्र कामना रखने वालों के लिए यह प्रयास ज़रूरी है...सुंदर रचना के लिए बधाई
ReplyDeleteदायरा अगर अपनी सोच का
ReplyDeleteआसमां से भी कर दे ऊँचा
इक दिन ही नही आज़ाद
आज़ाद हर इक दिन होगा... !!!
वाह क्या बात कही है ये बात सच है अगर हम अपनी सोच विस्तार बढाकर सकारत्मक कर दें तो हम सच में आज़ाद हो जायेंगे |
बहुत सुन्दर रचना |
Bahut acchhe vichar vyakat kiye hain aapne.. Sachmuch aajadi ke mayne wahi hote hain, jo aaapne likhe hain.. Aabhar...
ReplyDeleteSuperb post with deep meaning.!!
ReplyDeleteWeb hosting